क्या है आत्महत्या, क्यों करते हैं लोग आत्महत्या, कैसे बचें आत्महत्या के विचार से और कैसे बचाएं अपनो को इस आत्महत्या के भूत से, और कहीं आपके घर में तो नहीं घुस चुका है ये आत्महत्या का भूत, अपने बच्चों को और अपने परिवार को इस आत्महत्या के भूत बचाने के लिए, आज आपको जरूरत है इस लेख को पुरा पढ़ने की और शेयर करने की, क्योंकी जो चीजें आपको कोई नहीं बताएगा वो सब आपको इस लेख में मिलेंगी-
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क्या होते हैं आत्महत्या के कारण -
आत्महत्या का हर मामला नाटकीय रूप से अलग होता है, अगर इसके कारणों की बात की जाए तो ज्यादातर मामलों में, कोई एक कारण नहीं है, बल्कि बहुत सारी अलग वजह दिमाग में किसी नशे का हस्तक्षेप और परिवारिक स्थिति का बड़ा योगदान होता हैं।
आत्महत्या के सबसे बड़े और आम कारणों में से कुछ में ये होते हैं -
- आत्मघाती विचार धारा
- डिप्रेशन
- नशीली दवाओं और शराब का दुरुपयोग
- आत्महत्या का पारिवारिक / सामुदायिक इतिहास
- हिंसा और / या यौन शोषण का पारिवारिक इतिहास
- जीवन में अव्यवस्था
- व्यापार में बड़ा घाटा
- हिंसक व्यवहार ज्यादातर लड़ाई झगड़े वाले पारिवारों मं बच्चों का स्वभाव हिंसक हो जाता है
- घर में आग्नेयास्त्रों की उपस्थिति
आत्महत्या से जुड़े सभी मामलों की बात की जाए तो इनमें केवल अवसाद यानी डिप्रशन से जूझ रहे 66% लोग शामिल होते हैं जो या तो अवसाद से निपट रहे होते हैं या फिर उसका शिकार होते हैं, और एक बात और ये वो लोग होते हैं जो किसी तरह की ड्रग्स का सेवन करते हैं। ड्रग्स लेने वाला कोई भी व्यक्ति (एक रिपोर्ट के अनुसार) महिला या पुरूष, आम लोगों की तुलना में लगभग 6 गुना ज्यादा अपने जीवन के किसी बिंदु पर आत्महत्या का प्रयास करने की संभावना रखते हैं। और बढ़ती उम्र के साथ ड्रग्स से जूझ रहे पुरुषों में आत्महत्या के शिकार होने की संभावना दोगुनी से भी अधिक हो जाती हैं, और महिलाएं में आत्महत्या के शिकार होने की संभावना तो 6.5 गुना।
आत्महत्या करने वाले अकसर देते हैं ऐसे सकेंत -
वैसे तो आत्महत्या का विचार रखने वाला हर व्यक्ति अलग होता है, कुछ लोग इसके कम ही सकेंत देते है तो कुछ लोग आत्महत्या का शिकार होने से पहले, लंबे समय तक कई ऐसे सकेंत दिखाते हैं जिनको हम आराम से नज़र अंदाज कर देते हैं और उस व्यक्ति को उसके हाल पर छोड़ देते हैं। ऐसा भी जरूरी नहीं की जो व्यक्ति ये सकेंत दे रहा है वो आत्महत्या ही कर ले पर सावधानी बरतनी जरूरी हो जाती है।
पर आत्महत्या के लिए सबसे आम चेतावनी संकेतों में शामिल हैं -
- मृत्यु की इच्छा व्यक्त करना
- फंसे होने का भाव व्यक्त करना
- बात -बात पर गुस्सा करना या चिंतित हो जाना
- लापरवाह हो जाना और भाग्य या भगवान को दोष देना
- मित्रों और परिवार से अलगाव
- सामाजिक स्थितियों से बचना
- शौक या भोग के अन्य स्रोतों का परित्याग
- अनिद्रा
- भारी दवा और शराब का उपयोग
- अत्यधिक चिड़चिड़ापन
- निराशा
- काम की इच्छा में कमी
- कामकाज़ में मन ना लगना
- खुद को लगातार कोसते रहना
गलत भी और जुर्म भी है आत्महत्या -
ये बात सत्य है की जो दुनिया में आया है उसे कभी ना कभी इस दुनिया को छोड़ कर जाना होता है पर बिना वक्त छोटी उम्र में सिर्फ बुरे वक्त या नशें की वजह से इस दुनिया को अलविदा कर देना रोका जा सकता है। किसी अपने को खोने के सभी संभावित तरीकों में से आत्महत्या सबसे दर्दनाक हैं।
याद रखे आत्महत्या को आराम से रोका जा सकता है ये परिवारिक नुकसान के साथ एक अपराध भी है।
ये जानना महत्वपूर्ण है कि यदि आपने किसी अपने को आत्महत्या करने पर खो दिया है, तो ये आपकी गलती नहीं थी। उनके द्वारा किए गए कोई भी निर्णय पूरी तरह से उनके स्वयं के थे, और आप उनके कार्यों के लिए कोई जिम्मेदारी नहीं रखते हैं। हालांकि, अगर आपको संदेह है कि कोई व्यक्ति जिसे आप प्यार करते हैं, आत्महत्या पर विचार कर रहे हैं, तो उन्हें तुरंत सहायता प्राप्त करना भी उतना ही महत्वपूर्ण है। सौभाग्य से, आत्महत्या की रोकथाम और आपके लिए उपलब्ध अनगिनत संसाधनों के लिए समर्पित कई संगठन हैं। इनमें से कई विकल्प मुफ्त हैं। सामान्य तौर पर, आत्मघाती विचारों का सामना करने वाले किसी व्यक्ति के लिए तत्काल चिकित्सा की मांग की जानी चाहिए।
आपको अपने लोगों की आदतों पर ध्यान भी देना चाहिए और अगर आपका अपना किसी भी तरह के डिप्रशन में है और दवाब महसूस कर रहा है तो जरूरत है उससे बात करने की और उसका साथ देने की, उसे इस बात का अहसास कराने की, कि सब ठीक हो जाएगा।
कैसे रोक सकते हैं आत्महत्या -
किसी भी प्रकार का नशा या पारिवारिक कलह ही आत्महत्या की मुख्य वजहों में से एक हैं। वैसे कारण तो और भी हो सकते हैं पर ये दो कारण सबसे बड़े हैं ड्रग्स के सेवन से आत्महत्या का खतरा काफी बढ़ जाता है, तो आत्महत्या की रोकथाम में सबसे महत्वपूर्ण कदम ये ही है ऐसे किसी भी व्यसनों पर काबू पाने और मन को शांत किया जाए। ऐसा करने से उस व्यक्ति के डिप्रेशन या अवसाद में फर्क आएगा और नशे में कमी करने से संबंधित मानसिक स्वास्थ्य लक्षणों में भी कमी आ सकती है। हालाकी किसी भी प्रकार के नशे को छोड़ने पर या करने पर विदड्रॉल सिम्पटप्स होते हैं जो घातक भी साबित हो सकते हैं तो जरूरी है की किसी भी प्रकार के नशे के आदी को धीरे-धीरे ही नशे की लत से बाहर निकाला जाए और इसके लिए डॉक्टर्स की सलाह लेना भी आवश्यक होता है।
जितना हो सके उस व्यक्ति के साथ समय बिताए, ऐसे व्यक्ति को उसके सपनों के बारे में बताएं और सकरात्मक बातें और लोगों के बारे में बताएं। हो सके तो नए लोगों से और नए दोस्तों से उस व्यक्ति की मुलाकात कराएं।
योग और ध्यान का सहारा लें, हमसे ऐसे व्यक्ति की बात कराएं और मिलकर कोशिश करते हैं की एक जीवन को बचाया जा सके।
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